आईटीएम यूनिवर्सिटी रायपुर ने किया एचआर कॉन्क्लेव 2022 का सफल आयोजन

इंडिया एज न्यूज नेटवर्क

रायपुर। आईटीएम यूनिवर्सिटी रायपुर ने 25 जून शनिवार को होटल बेबीलोन में एचआर कॉन्क्लेव 2022 का सफल आयोजन किया। यह एचआर कॉन्क्लेव छत्तीसगढ़ के लोकल टैलेंट को रोजगार और तरक्की के बेहतर साधन सुनिश्चित कराने पर केंद्रित रहा । इस कार्यक्रम में विभिन्न उद्योगों ,स्वास्थ्य सेवा और एग्रोइंडस्ट्री क्षेत्र से जुड़े टॉप लीडर्स और मैनेजर्स से मंच साझा किया जिसमें मानव संसाधन विभाग की मौजूदा चुनौतियों और अपेक्षाओं पर लंबी चर्चा हुई। तकरीबन सौ अधिक प्रतिभागियों ने इसमें भाग लिया। जिंदल स्टील एंड पावर लिमिटेड रायपुर के अध्यक्ष और छत्तीसगढ़ योजना आयोग के टास्क फोर्स सदस्य प्रदीप टंडन बतौर मुख्य अतिथि मौजूद थे। मुख्य अतिथि प्रदीप टंडन ,आईटीएम ग्रुप ऑफ इंस्टीट्यूशंस मुंबई की सीपीओ प्रो. लक्ष्मी मूर्ति और आईक्यूएसी डायरेक्टर डॉ यासीन शेख ने सरस्वती पूजा व दीप प्रज्ज्वलन करते हुए कार्यक्रम का शुभारंभ किया।
कॉन्क्लेव को संबोधित करते हुए सीपीओ प्रो. लक्ष्मी मूर्ति ने एचआर कॉन्क्लेव के विभिन्न उद्देश्यों पर बातचीत की और कहा कि शैक्षणिक संस्थानों के लिए छात्रों को उनकी अपेक्षाओं के अनुसार अच्छे संगठनों में अच्छे पैकेज के साथ प्लेसमेंट कराना एक बड़ी चुनौती रही है। छात्रों का इनपुट साझा करते हुए उन्होंने कहा कि यहाँ छात्र हतोत्साहित रहते हैं कि राज्य की लोकल इंडस्ट्रीज और सर्विस कंपनियों में उन्हे अच्छा ऑफर नहीं मिलता और और वे अपने बेहतर करियर के लिए मेगासिटी चले जाते हैं। सीपीओ सुश्री मूर्ति ने कहाकि जहाँ छत्तीसगढ़ में उत्पादन और सर्विस से जुड़ी इंडस्ट्रीज को मैनपावर की बेहद आवश्यकता है वहीं दूसरी ओर महामारी ने कर्मचारियों की मनोस्थितिऔर प्राथमिकताओं को बदल दिया है। टियर -1 शहरों के नौकरी चाहने वाले उम्मीदवार अब रोजगार के लिए टियर -2 और टियर -3 शहरों की ओर आ रहे हैं। इस स्थिति में एचआर के सामने स्किल्ड, स्मार्ट सैलरी और सतत औद्योगिक विकास के नजरिए से उद्योग की आवश्यकताओं और कर्मचारियों की संतुष्टि को संतुलित करने की बड़ी जिम्मेदारी है।

आईक्यूएसी के निदेशक डॉ. यासीन शेख ने के सभी प्रतिभागियों का स्वागत किया और मुख्य अतिथि का संक्षिप्त परिचय दिया। कॉन्क्लेव के मुख्य वक्ता के रूप में मुख्य अतिथि श्री प्रदीप टंडन ने कहा कि चुनौतियां हैं तो अवसर भी भरपुर हैं । स्टार्टअप के साथ आ रहे इंडस्ट्रीज में जॉब की अच्छी संभावनाएं हैं।

कोविड ने व्यक्तिगत जरूरतों को काम करने का सबक दिया है और कई क्षेत्रों पर प्रोफिटेबल बिज़नेस का रास्ता निकाला हैं। उन्होंने कहाकि छत्तीसगढ़ में कोर सेक्टर अच्छा प्रदर्शन कर रहे हैं। कंपनी के ग्रोथ में एचआर की महती भूमिका होती है और उन्हें कर्मचारियों की दुविधा और समस्याओं का निराकरण जल्द से जल्द करना चाहिए। मानव संसाधन और कर्मचारियों में उत्तरदायित्व का बड़ा महत्त्व होता है जो किसी भी संगठन में अग्रणी भूमिका निभाते हैं। इसके अलावा डेटा विश्लेषण, लेखन कौशल, शिष्टाचार और प्रोटोकॉल भी उद्योगों में कर्मचारी को अधिक मूल्यवान और परिणाम-उन्मुख बनाते हैं। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि विश्वविद्यालय को अपने छात्रों को पहले दिन से ही औद्योगिक वातावरण के अनुसार पढ़ाना चाहिए ताकि वे उद्योग में पहले दिन से अपना काम शुरू कर सकें और अपने प्रयासों का सर्वोत्तम लाभ उठा सकें। उन्होंने छत्तीसगढ़ राज्य में पहली बार इस तरह के अनूठे आयोजन के लिए आईटीएम विश्वविद्यालय के प्रबंधन को बधाई दी। कॉन्क्लेव में छत्तीसगढ़ राज्य की बैंकिंग, हॉस्पिटैलिटी, हेल्थकेयर, एग्रोइंडस्ट्री, मार्केट रिसर्च एंड कंसल्टिंग, स्टील एंड पावर सेक्टर, आईटी, लॉ, एफएमसीजी आदि कंपनियों के लीडर्स और मैनेजर्स मौजूद थे।

वीएनआर सीड्स लिमिटेड की जीएम डॉ. पारुल परमार और आईक्यूएसी डायरेक्टर डॉ. यासीन शेख ने पैनल डिस्कशन में मॉडरेटर के रूप में हिस्सा लिया।

पैनल-1 चर्चा में वीएनआर सीड्स प्रा. लिमिटेड के संस्थापक निदेशक सीए अरविंद कुमार अग्रवाल, मुख्य अस्पताल प्रशासक शिजू सेबेस्टियन और स्टीलमिंट के एचआर ऑफिसर नीरज पारीक ने टैलेंट एक्विजिशन की चुनौतियों पर विचार मंथन किया। पैनलिस्टों ने अकादमिक और इंडस्ट्रियल यूनिट्स के तालमेल पर ध्यान केंद्रित किया और इस क्षेत्र में स्थानीय प्रतिभाओं के नियोजन पर लंबी बातचीत की। पैनल 2 डिस्कशन में कोटक महिंद्रा बैंक के वाइस प्रेसिडेंट प्रियांक पांडे, जियो डिजिटल लर्निंग एंड डेवलपमेंट हेड सुबोध रणधीर और मैनेजमेंट कंसल्टेंट विक्रांत मोहबे ने हिस्सा लिया।
दूसरे पैनल की चर्चा छत्तीसगढ़ राज्य में टैलेंट एंगेजमेंट की वर्तमान चुनौतियों पर आधारित थी। पैनलिस्ट ने इस बात पर बहस की कि कैसे स्थानीय प्रतिभाओं को क्षेत्र में बनाए रखा जाना चाहिए और क्या उन्हें उद्योग के साथ-साथ राज्य के विकास के लिए समय-समय पर प्रशिक्षित या कुशल होना चाहिए।

उद्घाटन सत्र के दौरान स्कूल ऑफ इंजीनियरिंग एंड रिसर्च हेड डॉ सत्य प्रकाश मखीजा, स्कूल ऑफ लाइफ एंड अलाइड साइंसेज के हेड डॉ रूपेश ठाकुर और स्कूल ऑफ लॉ हेड डॉ श्रद्धा पाणे और स्कूल ऑफ हॉस्पिटैलिटी मैनेजमेंट के हेड अमेया जानी ने पैनलिस्ट का स्वागत किया। कार्यक्रम का संचालन ऑपरेशन हेड दीप्ति मिश्रा, डॉ. भावना प्रजापति, प्रो. अरिजीत गोस्वामी और प्रो. इंसी पांडे द्वारा किया गया । कार्यक्रम में प्रो. अरिजीत गोस्वामी ने आभार प्रदर्शन किया ।

India Edge News Desk

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